वन भवन से उल्लू का रेस्क्यू

वन भवन से उल्लू का रेस्क्यू   भोपाल : वन मुख्यालय (वन भवन) से 17 मई, 2024 को सामान्य वन मण्डल भोपाल की रेस्क्यू टीम द्वारा एक उल्लू को रेस्क्यू कर वन विहार राष्ट्रीय उद्यान, भोपाल में लाया गया। उक्त उल्लू का तत्समय वन्यप्राणी चिकित्सक श्री रजत कुलकर्णी द्वारा स्वास्थ्य परीक्षण किया गया। उसके पंखों में चोट पाए जाने पर उसका इलाज कर पिंजरे में क्वॉरेन्टाईन बाड़े में रखा गया है। यह उल्लू कामन-बार्न आऊल प्रजाति का है वैज्ञानिक नाम (Tyto alba) है। यह वन्यप्राणी संरक्षण अधिनिम 1972 (यथा संशोधित 2022) के शेडयूल-1 पार्ट-B के अंतर्गत आता है। वर्तमान में उक्त उल्लू स्वस्थ है एवं नियमित भोजन भी कर रहा है। उल्लू के पूर्ण स्वस्थ होने पर उसे प्राकृतिक रहवास (वन क्षेत्र) में छोड़ दिया जायेगा।

वन भवन से उल्लू का रेस्क्यू 

भोपाल : वन मुख्यालय (वन भवन) से 17 मई, 2024 को सामान्य वन मण्डल भोपाल की रेस्क्यू टीम द्वारा एक उल्लू को रेस्क्यू कर वन विहार राष्ट्रीय उद्यान, भोपाल में लाया गया। उक्त उल्लू का तत्समय वन्यप्राणी चिकित्सक श्री रजत कुलकर्णी द्वारा स्वास्थ्य परीक्षण किया गया। उसके पंखों में चोट पाए जाने पर उसका इलाज कर पिंजरे में क्वॉरेन्टाईन बाड़े में रखा गया है। यह उल्लू कामन-बार्न आऊल प्रजाति का है वैज्ञानिक नाम (Tyto alba) है। यह वन्यप्राणी संरक्षण अधिनिम 1972 (यथा संशोधित 2022) के शेडयूल-1 पार्ट-B के अंतर्गत आता है। वर्तमान में उक्त उल्लू स्वस्थ है एवं नियमित भोजन भी कर रहा है। उल्लू के पूर्ण स्वस्थ होने पर उसे प्राकृतिक रहवास (वन क्षेत्र) में छोड़ दिया जायेगा।

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Journalist Anil Prabhakar

Editor UPVIRAL24 NEWS